Friday, April 30, 2010

स्केच पेन से हैण्ड पम्प Hand Pump

स्केच पेन से हैण्ड पम्प Hand Pump
आवश्यक सामग्री...एक स्केच पेन का खोखा (खोल),साइकिल के रिम की तार,साइकिल की छोटी गोली,बाल पेन की खाली रिफिल का टुकड़ा 
सिद्धांत...  हैण्ड पम्प, पिस्टन वाल्व का सिद्धांत

बनाने की विधि... स्केच पेन लेकर उसकी निब व् इंक पैड निकाल देते है साइकिल की छोटी गोली स्केच पेन में डाल देते है यह गोली वाल्व का काम  करेगी | स्केच पेन के उपर कि तरफ एक छेद कर के उस में बाल पेन की खाली रिफिल का टुकड़ा फिट कर देते है  | यह पानी निकलने का मार्ग होगा | साइकिल के रिम की तार को उपर से मोड कर पेन में डाल देते और पेन कि बेक कैप में छेद कर के उसे तार में से पिरो कर बंद कर देते है | हैण्ड पम्प  को पानी से भरे गिलास में खड़ा कर के  पिस्टन को उपर नीचे करने पर पानी आने लगेगा |
द्वारा--दर्शन बवेजा ,विज्ञान अध्यापक ,यमुना नगर ,हरियाणा
 

Thursday, April 29, 2010

विस्थापन अभिक्रिया Displacement Reaction

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विस्थापन अभिक्रिया Displacement Reaction
आवश्यक सामग्री :  ठोस कॉपर सल्फेट,पानी,परखनली,एक धागे से बंधी लोहे की कील आदि 
ऐसा क्युं : विस्थापन अभिक्रिया Displacement Reaction




प्रयोग विधि...एक परखनली में ठोस कॉपर सल्फेट छोटा आधा चम्मच और दो तिहाई पानी ले कर घोल लेते है (ठोस कॉपर सल्फेट आपने  विज्ञान अध्यापक से ले)
फिर एक धागे से बंधी लोहे की कील ले कर उस को परखनली में डुबाते है 15 मिनट में बहार निकाल कर देखे लोहे की कील पर ताम्बे की पतली परत चढ़ जाती है ऐसा क्युं होता है ? यहाँ आधिक सक्रिय धातु  लोहा (Fe)कम सक्रिय धातु कॉपर (Cu) को विस्थापित करती है रासायनिक अभिक्रिया ,    

Fe+CuSO4------FeSO4+Cu

द्वारा--दर्शन बवेजा ,विज्ञान अध्यापक ,यमुना नगर ,हरियाणा

Wednesday, April 28, 2010

विद्युत टॉर्च(कक्षा-६) Electric Torch

विद्युत टॉर्च(कक्षा-६) Electric Torch
आवश्यक सामग्री…. एक बेटरी, तार, एक बल्ब,सेलो टेप,लकड़ी का गुटका,दो पेंच
 सिद्धांत...  विद्युत के प्रभाव

बनाने की विधि...लकड़ी के गुटके पर चित्रानुसार एक गढ्डा बना लेते है ताकि बल्ब उस में फँस जाए इस गढ्डे का ये लाभ है कि इस में तारों के सिरे बल्ब के टच में रहते है टांका (सोल्डर) नहीं लगाना पड़ता | बल्ब फिट कर के सेलो टेप से जमा देते है  दो पेंचो में बेटरी फंसा देते है | तारों के पिछले दोनों सिरों को बेटरी के धन (+) एवं ऋण (-) भागो से लगते है तो बल्ब जल जाता है आया न मज़ा !
 यह मॉडल कक्षा 6 के विद्यार्थियों में बहुत लोकप्रिय है व् उन के पाठ्यक्रम में भी है |
द्वारा--दर्शन बवेजा ,विज्ञान अध्यापक ,यमुना नगर ,हरियाणा

 

Tuesday, April 27, 2010

विद्युत चुम्बक बनाये (Electro Magnet)

विद्युत चुम्बक बनाये (Electro Magnet)

 आवश्यक सामग्री….एक बेटरी (बड़ी),एक कील,कपड़ा चढ़ी कॉपर (ताम्बे) की तार,आल पिन या स्टेपलर की पिने

सिद्धांत...  विद्युत चुम्बकत्व (Electro Magnetism)

बनाने की विधि...यह मॉडल बनाने के लिए एक लोहे की कील पर कपड़ा चढ़ी कॉपर(ताम्बे) की तार की कुंडली बना लेते है (कपड़ा चढ़ी कॉपर ताम्बे की तार आपके स्कूल की विज्ञान प्रयोगशाला में होगी वहाँ से ले ले)तार के दोनों सिरों से कपड़ा उतार ले चित्रानुसार एक सिरे को सेल( बेटरी )के धन (+)भाग और दूसरे सिरे को ऋण (-) भाग से टच करने से लोहे की कील विद्युत चुम्बक (Electro Magnet) बन जायेगी |अब इस विद्युत चुम्बक की सहायता से आप आल पिन या स्टेपलर की पिने चिपका कर देखे|

यह मॉडल कक्षा 6 के विद्यार्थियों में बहुत लोकप्रिय है व् उन के पाठ्यक्रम में भी है |
द्वारा--दर्शन बवेजा ,विज्ञान अध्यापक ,यमुना नगर ,हरियाणा


Monday, April 26, 2010

चालक एवं कुचालक पदार्थों की पहचान करना GOOD AND BAD CONDUCTOR OF ELECTRICITY

चालक एवं कुचालक पदार्थों की पहचान करना
GOOD AND BAD CONDUCTOR OF ELECTRICITY 
आवश्यक सामग्री...एक हार्ड बोर्ड गत्ते का टुकड़ा ,14 छोटे नट बोल्ट या पेंच, ताम्बे, लोहे,एलुमिनियम,चांदी(सुनार से १० रुपये की मिलती है )धातुओं की तार,लकड़ी का टुकड़ा(झाड़ू का तिल्ला),धागा,प्लास्टिक की तार,4 सेल ,कनेक्शन वायर,एक टोर्च बल्ब,टोर्च बल्ब होल्डर,सेलो टेप,डेकोरेशन का सामान
 सिद्धांत... कुचालकता एवं सुचालकता












बनाने की विधि... एक हार्ड बोर्ड गत्ते का टुकड़ा ले कर उपर नीचे 6 इंच दुरी पर 1-1 इंच दूर 7-7 सुराख़ बना कर 14 छोटे नट बोल्ट या पेंच 7 उपर 7 नीचे लगा लेते है उपर के पहले व् नीचे के पहले सुराख़ में ताम्बे की तार और फिर क्रमश लोहे,एलुमिनियम,चांदी धातुओं की तार,लकड़ी का टुकड़ा(झाड़ू का तिल्ला),धागा,प्लास्टिक की तार लगा लेते है नीचे के सातो पेंचो को  (बेक साईड में) एक ताम्बे की तार से जोड़ें और फिर सेल से फिर बल्ब से |चित्रानुसार परिपथ तैयार कर ले (नोट:बिजली मिस्त्री की मदद ले सकते है) परिपथ तैयार हो जाने पर ४ सेल लगा कर जब हम तार के ओपन सिरे को  ताम्बे, लोहे,एलुमिनियम,चांदी धातुओं की तारो से टच करते है तो बल्ब जल जाता है अर्थार्त परिपथ पूर्ण हो जाता है बल्ब का जलना प्रदर्शित करता है की ताम्बे, लोहे,एलुमिनियम,चांदी धातु विद्युत की सुचालक है जबकि लकड़ी का टुकड़ा(झाड़ू का तिल्ला),धागा,प्लास्टिक की तार से टच करने पर बल्ब नहीं जलता बल्ब का जलना न प्रदर्शित करता है की लकड़ी,धागा,प्लास्टिक विद्युत के कुचालक है |
यह मॉडल कक्षा 7 के विद्यार्थियों में बहुत लोकप्रिय है मेरे स्कूल कक्षा 7 के 37 में से 16 बच्चे एक बार इस मॉडल को बना लाए है न मजेदार बात |
द्वारा--दर्शन बवेजा ,विज्ञान अध्यापक ,यमुना नगर ,हरियाणा
  
  
 

Saturday, April 24, 2010

पानी(पदार्थों) का ससंजन गुण Adhesive Property 0f Water/Matter(Adhesion)

पानी(पदार्थों) का ससंजन गुण  Adhesive Property 0f Water/Matter(Adhesion)
आवश्यक सामग्री
....  4x4 इन्च के दो काँच के टुकड़े,दो वैक्यूम रबर ,पानी
सिद्धांत.. 
पानी(पदार्थो)का ससंजन गुण  Adhesive property of Water(Matter)
 
कार्यविधि...   दो कांच के टुकड़े ले कर उन की एक तरफ वैक्यूम रबर चिपका लेते है यह वैक्यूम रबर किसी हार्डवेयर की दुकान से मिल जाती है यह  वैक्यूम  रबर  मेज पर कांच चिपकाने के काम आती है | अब काँच के टुकड़े के दूसरी तरफ दो तीन बुँदे पानी की डाल कर दोनों काँच के टुकड़ों को एक दुसरे पर रख देते है अब हम दोनों  वैक्यूम रबर को पकड़ कर इन काँच के टुकडो को अलग करने की कोशिश करते है परन्तु ये तो चिपक गए है तो क्या पानी में भी गोंद  की तरह चिपकने का गुण होता है ? जी हाँ काँच और पानी के अणुओ के बीच बंध  (बोन्डिंग) के कारण दोनों काँच के टुकड़े चिपक गए अब ये केवल सरका(स्लाइड) कर के ही अलग हो सकती है |
द्वारा--दर्शन बवेजा ,विज्ञान अध्यापक ,यमुना नगर ,हरियाणा



 

ध्वनी तरंगो की उत्पत्ति,गमन एवं विस्तारण

ध्वनी  तरंगो की उत्पत्ति,गमन एवं विस्तारण
आवश्यक सामग्री... 70 से मी मोटा सूती धागा ,पान पराग के डिब्बे का ढक्कन ,एक पेंसिल   |
सिद्धांत.... ध्वनी  तरंगो की उत्पत्ति,गमन एवं विस्तारण (PRODUCTION OF SOUND WAVES ,PROPAGATION AND AMPLIFICATION)

 



बनाने की विधि ...कार्य विधि पान पराग के डिब्बे का ढक्कन में एक सुराख़ कर लेते है उस में धागा डाल कर माचिस की तिल्ली से बाँध देते है |एक पेंसिल ले कर उपर से एक इंच छोड़ कर एक झिर्री काट लेते है इस झिर्री में धागे का दूसरा छोर बांध देते है यह गांठ थोड़ी ढीली लगानी है तांकि पेंसिल धागे से  रगड़ खा कर घूम सके |जब धागे और पेंसिल के बीच रगड़ होगी तो कम्पन के कारण ध्वनी तरंगे पैदा होंगी ये ध्वनी तरंगे धागे में से गति कर के ढक्कन के सतह तक पहुंचेगी और फैलेंगी  और हमरे कानो में सुनाई  देंगी | एस प्रकार इस खिलोने की सहयता से ध्वनी  तरंगो की उत्पत्ति,गमन एवं विस्तारण को समझया जा सकता है अध्यापक अपने आप कुछ नए टिप्स भी जोड़ सकते है |










द्वारा--दर्शन बवेजा ,विज्ञान अध्यापक ,यमुना नगर ,हरियाणा
 

Friday, April 23, 2010

गोताखोर बनाये (डाईवर)

गोताखोर बनाये (डाईवर)
आवश्यक सामग्री--- एक ड्रोपर, दो लोहे की  वाशर(washer),2 लीटर वाली कोल्ड ड्रिंक की बोतल ,पानी  |
सिद्धांत--- आर्कमङीज का सिद्धांत,उत्त्प्लावन बल,वस्तु के तैरने डूबने के नियम,पनडुब्बी का सिद्धांत | 
बनाने की विधि..कार्यविधि... ड्रोपर के मध्य में लोहे की  वाशर(washer) लगा कर थोडा वजनदार बना लेते है अब बोतल में पानी भरकर ड्रोपर  को भी तीन चोथाई पानी से भर लेते है अब पानी से तीन चोथाई भरे इस ड्रोपर को बोतल में छोड़ देते है यदि सब कुछ बैलेंस वजन ठीक होगा तो ड्रोपर एकदम सीधा खड़ा होगा यदि ऐसा नहीं होता है तो हमे एक और वाशर(washer) चड़ा कर ड्रोपर का वजन बढ़ना होगा हमे तब तक प्रयास करते रहना है जब तक पानी से तीन चोथाई भरा यह  ड्रोपर बोतल के मुँह के पास एक दम सीधा खड़ा न हो जाये |अब बोतल  के ढक्कन को कसकर  बंद कर देते है | अब बोतल को मध्य में से दोनों हाथों से दबाते  है  तब हम देखते है की ड्रोपर एक कुशल गोताखोर की तरह नीचे तली तक आता है और जैसे ही हम आपने दोनों हाथों से बोतल को ढीला छोड़ते है तो गोताखोर उपर आ जाता है |  
अब आप ये जानना चाहोगे की ऐसा क्यों होता है जब हम बोतल को बीच में से दबाते है तो पानी ड्रोपर में खाली 1/3 खाली जगह में चला जाता है जिस कारण  ड्रोपर का वजन बढ़ जाता है और  आर्कमङीज के  सिद्धांत के अनुसार ड्रोपर गोताखोर  के द्वारा हटाये पानी का भार उस के भार से कम हो जाता है और ड्रोपर डूबने लगता है जैसे ही हम लगाया गया दबाव कम करते है ड्रोपर में घुसा पानी बहार आ जाता है और ड्रोपर हल्का हो जाता है और वह उपर आ जाता है | यह मॉडल पेन ,पेन की कैप ,परखनली आदि से भी बनाया जा सकता है यह मॉडल बच्चो में बहुत लोकप्रिये है |
द्वारा--दर्शन बवेजा ,विज्ञान अध्यापक ,यमुना नगर ,हरियाणा